ब्रह्मखाल/सुरेश रमोला।गंगा यमुना मध्य भगवान बौखनाग की तलहटी सिलक्यारा टनल के पास सप्त दिवसीय कथा ज्ञान यज्ञ विधि विधान से पूजा अर्चना हवन पूजन के साथ सम्पन्न हो गया। ग्यूनोटी के ग्रामीणो ने कथा सम्पन्न कराने में बढ़-चढ़कर प्रतिभाग किया। कथा वक्ता राकेश रतूड़ी, कुशुम लता मंमगांई, कपिल उनियाल और शंकर जोशी ने भागवत कथा, शिवमहापुराण और देवी भागवत की कथाओं का श्रवण कराते हुये सप्त दिवसीय कथा गंगा से श्रोताओं को मंत्रमुग्ध किया। कथा के माध्यम से वक्ताओं ने बौखनाग भगवान को महिमा मंडित करते हुये उनकी शक्तियों से श्रोताओं अवगत कराया और बौखनाग से क्षेत्र में प्राणियों को धन धान्य समृद्धि और खुशहाली से परिपूर्ण रखने की प्रार्थना की। भले ही भंडारस्यूं क्षेत्र के लोगों ने कथा संपन्न कराने में यथा संभव मदद की मगर जिस कंपनी के 41 श्रमिक नवंबर में टनल के अंदर फंस गये उस नवयुगा कंपनी के कर्मचारियों और अधिकारियों ने कथा से दूरी बना करके रखी। कंपनी के प्रोजेक्ट मैनेजर और अन्य कर्मचारी सिलक्यारा में ही मौजूद रहे मगर कथा में बौखनाग के आशीर्वाद लेने को एक बार भी नहीं आये जो कि इतनी बड़ी घटना से कुशलतापूर्वक संपन्न होने पर उनकी आस्था बौखनाग के प्रति आज भी नकारात्मक दिखती है। कथा वक्ताओं ने कथा पीठ से कहा कि यदि सिलक्यारा में कार्यदाई संस्था नवयुगा कंपनी सिलक्यारा टनल के मुहाने पर सीघ्र ही भब्य और दिव्या बनाकर तैयार नहीं करती तो निकट भविष्य में बड़ी अनहोनी होनी तय है और टनल भी कुशलतापूर्वक नहीं बन सकती। ब्राह्मणों के हाथों क्षेत्र वासियों को सुफल दिया गया और जनहित के लिए कथा को समर्पित किया।